कोलकाता, पश्चिम बंगाल: पश्चिम बंगाल के कई जिलों में शुक्रवार को वक्फ संशोधन अधिनियम के खिलाफ हुए प्रदर्शनों ने हिंसक रूप ले लिया, जिससे राज्य की कानून-व्यवस्था पर गंभीर प्रश्नचिन्ह खड़े हो गए हैं। मुर्शिदाबाद, मालदा और कोलकाता समेत कई स्थानों पर प्रदर्शनकारियों ने सड़कों और रेलवे ट्रैक को जाम कर दिया, पुलिस पर पथराव किया और वाहनों में आग लगा दी। इन घटनाओं में लगभग 15 पुलिसकर्मी और 10 नागरिक घायल हुए हैं। पुलिस ने 118 लोगों को गिरफ्तार किया है।

मुर्शिदाबाद में प्रदर्शन हुआ हिंसक
मुर्शिदाबाद के सुती क्षेत्र में शुक्रवार की जुमे की नमाज के बाद बड़ी संख्या में लोग एकत्र होकर वक्फ संशोधन अधिनियम के विरोध में सड़कों पर उतर आए। प्रशासन द्वारा लागू निषेधाज्ञा के बावजूद भीड़ ने सुतिर सजुर मोड़ तक राष्ट्रीय राजमार्ग-12 को अवरुद्ध कर दिया।
पुलिस वैन और सार्वजनिक बसों को आग के हवाले कर दिया गया, जबकि पुलिस पर पथराव और बम जैसे पदार्थ फेंके गए। पुलिस ने हालात पर काबू पाने के लिए लाठीचार्ज और आंसू गैस का सहारा लिया। इस दौरान एक नाबालिग लड़की, जो अपने रिश्तेदार के घर लौट रही थी, गोली का शिकार हो गई। उसे कोलकाता के एक अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
रेल यातायात भी बाधित
पूर्वी रेलवे ने जानकारी दी कि 11 अप्रैल को दोपहर 2:46 बजे लगभग 5000 प्रदर्शनकारी धूलियानगंगा स्टेशन के पास रेलवे ट्रैक पर बैठ गए। इसके कारण कामाख्या पुरी एक्सप्रेस, बरहरवा-अजीमगंज पैसेंजर समेत कई ट्रेनें फंस गईं और सेवाएं बाधित हो गईं।
A group of people obstructed near Dhulian Ganga station today on non railway cause. Eastern Railway requesting everybody not to obstruct railway movement as it not only affects punctuality of train running but also brings harassment for lots of passengers. pic.twitter.com/UwqoNNnkkT
— Eastern Railway (@EasternRailway) April 11, 2025
रेलवे पुलिस (RPF), जीआरपी और स्थानीय प्रशासन ने मौके पर पहुंचकर हालात संभालने की कोशिश की। पूर्वी रेलवे ने कुछ ट्रेनों को रद्द कर दिया और अन्य को मार्ग में ही रोक दिया गया।
बीएसएफ की तैनाती और प्रशासनिक प्रतिक्रिया
दक्षिण बंगाल फ्रंटियर के बीएसएफ डीआईजी और पीआरओ नीलोत्पल कुमार पांडे ने बताया कि जंगीपुर (मुर्शिदाबाद) में अचानक भीड़ बेकाबू हो गई। कानून-व्यवस्था को बनाए रखने और स्थानीय प्रशासन की मदद के लिए बीएसएफ के जवानों को तैनात किया गया।
राज्यपाल सी वी आनंद बोस ने राज्य सरकार से मांग की है कि संवेदनशील क्षेत्रों में जिम्मेदार लोगों के खिलाफ तत्काल और कठोर कार्रवाई की जाए।
#WATCH | Bengaluru: West Bengal Governor CV Ananda Bose says, "I have been receiving disturbing reports about some people taking law and order in their hands in some parts of Bengal. Protest is welcome under democracy, but not violence. Public order cannot be disturbed and the… pic.twitter.com/MlSYsKhwHb
— ANI (@ANI) April 11, 2025
शैक्षणिक संस्थानों में भी विरोध
आलिया विश्वविद्यालय के छात्रों ने भी वक्फ अधिनियम में संशोधन के विरोध में रैली निकाली। उन्होंने पार्क सर्कस स्थित ‘सेवन पॉइंट क्रॉसिंग’ को कुछ समय के लिए अवरुद्ध किया। इस दौरान पुलिस द्वारा लगाए गए बैरिकेड्स को भी पार किया गया।

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राजनीतिक बयानबाज़ी तेज
भाजपा ने ममता बनर्जी सरकार पर निशाना साधते हुए आरोप लगाया कि सरकार राज्य को “दूसरा बांग्लादेश” बनाने की दिशा में काम कर रही है।
बीजेपी आईटी सेल प्रमुख अमित मालवीय ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर गंभीर आरोप लगाए, जबकि विपक्ष के नेता सुवेंदु अधिकारी ने राज्य पुलिस और मंत्रियों को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा, “विरोध करना सभी का अधिकार है, लेकिन हिंसा अस्वीकार्य है।”