अमेरिका और ब्रिटेन द्वारा हूती विद्रोहियों के ख़िलाफ़ हमले: अमेरिका और यूके की सेना ने यमन में हूती विद्रोहियों के ठिकानों पर हमले शुरू किए हैं. जिसको लेकर हूती विद्रोहियों ने अमेरिका और यूके को चेतावनी देते हुए कहा है कि इस आक्रामकता की उन्हें भारी क़ीमत चुकानी होगी. उधर अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने साफ कर दिया है कि ये हमले हूती विद्रोहियों सबक सिखाने के लिए हैं. अमेरिका ने इसे लाल सागर से गुज़रने वाले जहाज़ों को निशाना बनाने की जवाबी कार्रवाई बताया है.
अमेरिका और यूके के हमलों के बाद हूतियों ने भी जंग का ऐलान करते हुए जवाबी हमले शुरू कर दिए हैं. शुक्रवार को हूती उप विदेश मंत्री हुसैन अल-एजी ने कहा है कि यमन पर हमले के अमेरिका और ब्रिटेन को गंभीर परिणाम भुगतने होंगे. हूती विद्रोहियों के अधिकारी ने कहा कि अमेरिकी और यूके की सेना ने बड़े पैमाने पर आक्रामक हमला किया है. जिसका हम मुंहतोड़ जवाब देंगे. इन हमलोब के लिए अमेरिका और ब्रिटेन को भारी कीमत चुकानी होगी. ऐसे में दोनों देशों को अंजाम भुगतने के लिए तैयार रहना होगा. इन सब के बीच सऊदी अरब ने इस मामले में संयम बरतने की सलाह दी है.
आधी रात को अमेरिका हुआ हमलावर
अमेरिकी सेंट्रल कमांड ने जानकारी के अनुसार, गुरुवार रात क़रीब दो बज कर 30 मिनट पर गठबंधन देशों की मदद से अमेरिकी सेना ने हूती विद्रोहियों के ठिकानों पर हमले किए. इन हमलों में हूतियों के रडार सिस्टम, एयर डिफेन्स सिस्टम और हथियारों के भंडारों को निशाना बनाया गया है. अमेरिका का दावा ईरान समर्थित हूती विद्रोहों ने बीते साल 17 अक्तूबर से लेकर अब तक लाल सागर में अंतरराष्ट्रीय समुद्री रास्तों पर 27 जहाज़ों पर हमले किए हैं. ऐसे में ये हमले लाल सागर हूतियों के बढ़ते हमलों का जवाब है.
अमेरिका भी दे चुका है चेतावनी
इतना ही नहीं, अमेरिका ने आगे साफ़ कर दिया कि अगर हूती लाल सागर में जहाजों को निशाना बनाना जारी रखते हैं तो यमन में और ज्यादा हमले किए जाएंगे. जिसके जवाब में हूतियों ने भी जवाबी कार्रवाई करने का ऐलान किया है.