नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को अपने लोकप्रिय रेडियो कार्यक्रम ‘मन की बात’ के 121वें एपिसोड में देशवासियों को संबोधित किया। इस अवसर पर प्रधानमंत्री ने हाल ही में जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले का जिक्र करते हुए पीड़ित परिवारों के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त की और देश को न्याय दिलाने का भरोसा दिया। उन्होंने कहा कि पूरा विश्व आतंकवाद के खिलाफ भारत की लड़ाई में 140 करोड़ भारतीयों के साथ खड़ा है।

पहलगाम हमले पर पीएम मोदी की भावुक प्रतिक्रिया
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा,
“आज जब मैं आपसे ‘मन की बात’ कर रहा हूं तो मन में गहरी पीड़ा है। 22 अप्रैल को पहलगाम में हुई आतंकी वारदात ने देश के हर नागरिक को दुःख पहुंचाया है। पीड़ित परिवारों के प्रति हर भारतीय के मन में गहरी संवेदना है।”
उन्होंने कहा कि देश का हर नागरिक, चाहे वह किसी भी राज्य, भाषा या क्षेत्र से संबंध रखता हो, इस हमले से उत्पन्न दर्द को महसूस कर रहा है। प्रधानमंत्री ने यह भी कहा कि हमले की तस्वीरों ने हर भारतीय के खून को खौला दिया है।
पीएम मोदी ने इस हमले को “आतंक के सरपरस्तों की हताशा और कायरता” का परिचायक बताया। उन्होंने कहा कि कश्मीर में लौटती शांति, बढ़ते निर्माण कार्य, सुदृढ़ होता लोकतंत्र और पर्यटन में रिकॉर्ड वृद्धि आतंकियों और उनके आकाओं को रास नहीं आई, इसलिए उन्होंने यह कायरतापूर्ण साजिश रची।
आतंकवाद के खिलाफ भारत की एकजुटता
प्रधानमंत्री ने कहा,
“आतंकवाद के खिलाफ इस युद्ध में देश की एकता, 140 करोड़ भारतीयों की एकजुटता, हमारी सबसे बड़ी ताकत है। हमें अपने संकल्पों को और मजबूत करना है।”
उन्होंने बताया कि हमले के बाद दुनिया भर से भारत के प्रति संवेदना व्यक्त की गई है। वैश्विक नेताओं ने फोन कॉल, पत्र और संदेशों के माध्यम से हमले की निंदा की है और पीड़ित परिवारों के प्रति सहानुभूति जताई है।
पीएम मोदी ने दोहराया कि,
“पीड़ित परिवारों को न्याय मिलेगा, दोषियों को कठोरतम जवाब दिया जाएगा। पूरा विश्व भारत के साथ खड़ा है।”
डॉ. के. कस्तूरीरंगन को दी श्रद्धांजलि
प्रधानमंत्री मोदी ने भारत के वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ. के. कस्तूरीरंगन के निधन पर भी श्रद्धांजलि अर्पित की। उन्होंने कहा,
“डॉ. कस्तूरीरंगन के नेतृत्व में ISRO ने नई ऊंचाइयों को छुआ। उन्होंने विज्ञान, शिक्षा और अंतरिक्ष अनुसंधान के क्षेत्र में भारत को वैश्विक पहचान दिलाई।”
प्रधानमंत्री ने उल्लेख किया कि डॉ. कस्तूरीरंगन ने नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति तैयार करने में भी अहम भूमिका निभाई थी। उन्होंने इनोवेशन और सीखने के जज्बे को युवा पीढ़ी के लिए प्रेरणा बताया।

म्यांमार में भूकंप पीड़ितों के लिए भारत का ‘ऑपरेशन ब्रह्मा’
अपने संबोधन के दौरान प्रधानमंत्री ने म्यांमार में आए विनाशकारी भूकंप का भी उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि भारत ने तुरंत ‘ऑपरेशन ब्रह्मा’ के तहत म्यांमार की मदद के लिए कदम उठाए।
भारतीय वायुसेना के एयरक्राफ्ट और नौसेना के जहाजों ने राहत सामग्री, दवाइयां, कंबल, टेंट, स्लिपिंग बैग्स सहित अन्य आवश्यक वस्तुएं म्यांमार भेजीं। भारतीय इंजीनियरों ने वहां बुनियादी ढांचे के नुकसान का आकलन भी किया। प्रधानमंत्री ने कहा कि म्यांमार के लोगों ने भारतीय राहत टीम की प्रशंसा की है।