Thursday, December 12, 2024
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एनसीआरबी रिपोर्ट में कहा गया है कि 2021 की तुलना में 2022 में साइबर अपराध, आर्थिक अपराध और महिलाओं के खिलाफ अपराध में वृद्धि हुई है

देश में आपराधिक मामलों की संख्या बढ़ी है. इस पर नेशनल क्राइम रिकॉर्ड्स ब्यूरो (NCRB) ने रिपोर्ट जारी की है. साल 2021 की तुलना में 2022 में ज्यादा आपराधिक घटनाएं दर्ज की गईं. साइबर क्राइम, पैसों की धोखा-धड़ी, बुजुर्गों और महिलाओं के खिलाफ अपराध के मामले 2021 की तुलना में 2022 में बढ़े हैं. एनसीआरबी का कहना है कि 2021 की तुलना में पिछले साल साइबर क्राइम के 24 फीसदी ज्यादा केस दर्ज किए गए हैं, जबकि सिर्फ दिल्ली में 50 फीसदी ज्यादा केस सामने आए हैं. रविवार (3 दिसंबर) को एनसीआरबी ने रिपोर्ट जारी की थी, जिसके मुताबिक, 2022 में 2021 की तुलना में साइबर क्राइम के 24 फीसदी ज्यादा केस रजिस्टर किए गए.

रिपोर्ट के मुताबिक, 2021 में कुल 52,974 मामले साइबर क्राइम के थे, जबकि 2022 में यह आंकड़ा  65,893 पहुंच गया. 2022 में साइबर क्राइम के कुल मामलों में से 42,710 फ्रॉड के थे, जिनमें जबरन वसूली के 3,648 और यौन शोषण के 3,648 मामले रिकॉर्ड किए गए. रिपोर्ट में कहा गया कि प्रति लाख आबादी पर क्राइम रेट 2021 में 3.9 था जो 2022 में 4.8 पहुंच गया.

एनसीआरबी के 2022 के व्यापक अपराध आंकड़ों से पता चलता है कि दिल्ली में साइबर क्राइम के मामलों की संख्या 2021 में 345 थी जो 2022 में बढ़कर 685 हो गई. रिपोर्ट में कहा गया कि 2020 में साइबर अपराध के केवल 166 मामले सामने आए थे. दिल्ली पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, ‘हम साइबर जागरूकता को बढ़ावा देने के लिए लगातार काम कर रहे हैं और समय-समय पर कई अभियान चलाए जा रहे हैं.’

महिलाओं के खिलाफ अपराध में 4 फीसद का इजाफा

एनसीआरबी ने महिलाओं के खिलाफ अपराधों में उल्लेखनीय वृद्धि दर्ज की है, 2022 में कुल 4,45,256 मामले दर्ज किए गए, जो 2021 में दर्ज किए गए 4,28,278 केस की तुलना में चार फीसदी ज्‍यादा हैं. रिपोर्ट के अनुसार, 2022 में देशभर में लगभग 250 महिलाएं हत्या, दुष्कर्म और सामूहिक दुष्‍कर्म की शिकार हुईं. आंकड़ों में कहा गया है कि कुल 6,516 महिलाओं की दहेज के लिए हत्या के मामले हैं, जबकि महिलाओं को आत्महत्या के लिए उकसाने की 4,963 घटनाएं दर्ज की गईं. महिलाओं पर अपराध के सबसे ज्यादा 65,743 मामलाे उत्तर प्रदेश, फिर महाराष्ट्र में 45,331, राजस्थान में 45,058, पश्चिम बंगाल में 34,738 और मध्य प्रदेश में 32,765 मामले सामने आए हैं.

दिल्ली में महिलाओं के खिलाफ अपराध की 14,247 घटनाएं दर्ज की गईं, इसके बाद जम्मू और कश्मीर (3,716) और चंडीगढ़ (325) का स्थान रहा. महिलाओं के अपहरण के मामलों में भी यूपी सबसे आगे है. 69,677 में 14,887 केस यूपी में, बिहार में 10,190, महाराष्ट्र में 9,297, मध्य प्रदेश में 7,960 और पश्चिम बंगाल में 6,596 केस देखने को मिले.

SC-ST के खिलाफ भी बढ़ा क्राइम

अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति समुदायों के खिलाफ आपराधिक मामलों की संख्या में 2021 की तुलना में इजाफा हुआ है. अनुसूचित जाति के लागों के खिलाफ 13.1 फीसदी ज्यादा आपराधिक मामले दर्ज किए गए. 2022 में कुल 57,582 ज्यादा केस दर्ज हुए, जबकि 2021 में यह आंकड़ा 50,900 था. वहीं, अनुसूचित जनजाति के लोगों के खिलाफ मामलों में 14.3 फीसदी की बढ़त हुई. 2021 में 8,802 मामले दर्ज किए गए थे, जो 2022 में बढ़कर 10,064 पहुंच गए. एनसीआरबी ने पैसों की धोखाधड़ी के मामलों में 11.1 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की है. 2022 में इनकी संख्या 1,93,385 दर्ज की गई, जो 2021 में 1,74,013 थी.

स्त्रोत – ABP Live न्यूज़

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