मंड्रेला: कस्बे के आदर्श विद्या मंदिर के प्रांगण में आयोजित सप्तशक्ति संगम और मातृ सम्मेलन 2025 में नारी शक्ति, पारिवारिक मूल्य, भारतीय संस्कृति, नैतिक शिक्षा और बेटी-बचाओ बेटी-पढ़ाओ जैसे प्रमुख मुद्दे केंद्र में रहे। कार्यक्रम में विभिन्न प्रतियोगिताओं, प्रेरक उद्बोधनों और मातृशक्ति के सम्मान ने पूरे आयोजन को एक विशेष पहचान दी। यह आयोजन सोशल मीडिया पर भी चर्चाओं में रहा और सांस्कृतिक कार्यक्रमों की झलकियों ने स्थानीय समुदाय का दिल जीता।
रविवार शाम आयोजित सप्तशक्ति संगम की शुरुआत सरस्वती पूजन, दीप प्रज्वलन और वंदना के साथ हुई। पूरे वातावरण में भक्ति, संस्कार और मातृशक्ति के सम्मान का भाव स्पष्ट रूप से झलक रहा था। आयोजन में बड़ी संख्या में मातृशक्ति और स्थानीय महिलाएँ उपस्थित रहीं।
मुख्य वक्ता अंजली मित्तल ने अपने प्रेरक वक्तव्य में कहा कि महिलाएँ ही परिवार की पूर्णता और संस्कारों की प्रथम गुरु होती हैं। उन्होंने संयुक्त परिवार व्यवस्था, कुटुंब प्रबोधन, पॉलीथिन मुक्त समाज, पर्यावरण संरक्षण और बेटी-बचाओ बेटी-पढ़ाओ जैसे विषयों पर विस्तृत मार्गदर्शन दिया। उनके विचारों ने मातृ सम्मेलन में उपस्थित सभी महिलाओं को गहराई से प्रभावित किया।
कार्यक्रम की अध्यक्षता गीता देवी ने की, जबकि कोमल मुख्य अतिथि के रूप में मौजूद रहीं। दोनों ने सामाजिक परिवर्तन, संस्कारित परिवार और मजबूत समाज निर्माण में महिलाओं की सामूहिक जिम्मेदारी पर अपने विचार साझा किए। उनके विचारों ने सम्मेलन को और अधिक सार्थक बना दिया।
सम्मेलन में आयोजित मनोरंजक एवं ज्ञानवर्धक प्रतियोगिताओं में मातृशक्ति ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। विजेता प्रतिभागियों को मंच पर पुरस्कार और प्रशस्ति पत्र प्रदान किए गए। सम्मान पाकर माताओं के चेहरे गर्व और खुशी से खिल उठे।
कार्यक्रम का कुशल संचालन सरिता सैनी ने किया। अंत में अंजू पुरोहित ने विद्यालय परिवार की ओर से सभी अतिथियों, मातृशक्ति और सहयोगियों का आभार व्यक्त किया।




