झुंझुनू, 23 मार्च 2025: झुंझुनू पुजारी सेवक संघ (रजि.) का संभागीय स्तरीय सम्मेलन नंदीशाला में आयोजित किया गया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि खाटू श्याम मंदिर के महंत मोहनदास रहे। उन्होंने सरकार से मांग की कि मंदिरों में सेवा देने वाले पुजारियों को हर महीने मानदेय दिया जाए।
महंत मोहनदास ने रखी पुजारियों की मांग
महंत मोहनदास ने कहा कि पुजारी समाज मंदिरों में निस्वार्थ सेवा करता है और उन्हें सरकार की ओर से वित्तीय सहायता मिलनी चाहिए। उन्होंने सरकार से पुजारियों को नियमित मानदेय देने और मंदिरों के विकास के लिए विशेष योजनाएं लाने की अपील की।

मंदिरों के जीर्णोद्धार और अतिक्रमण हटाने की मांग
पुजारी सेवक संघ के जिलाध्यक्ष विनोद कुमार पुजारी और प्रदेश महामंत्री रतनलाल शर्मा ने कहा कि कई मंदिर जीर्ण-शीर्ण अवस्था में हैं। सरकार को इनके जीर्णोद्धार के लिए आवश्यक कदम उठाने चाहिए। इसके अलावा, जिन मंदिरों की जमीनों पर अवैध कब्जे हैं, उन्हें मुक्त करवाकर पुजारियों को मालिकाना हक दिया जाना चाहिए।
संगठन को मजबूत करने का आह्वान
ब्रह्मचारी गणेश चैतन्य ने कहा कि समाज की एकता में ही शक्ति है। उन्होंने पुजारियों और ब्राह्मण समाज को एकजुट होकर अपनी मांगों को मजबूती से रखने की सलाह दी। उन्होंने कहा कि महासंघ को मजबूत कर युवा पीढ़ी को सनातन धर्म की ओर प्रेरित करना आवश्यक है।
सम्मेलन में मौजूद प्रमुख अतिथि और सदस्य
आयोजन में मुकुंदगढ़ आश्रम के चेतन नाथ, डाबड़ी धाम के राम बाबा, प्रसिद्ध मूर्तिकार मातुराम वर्मा, वाणीभूषण प्रभु शरण तिवाड़ी, सरपंच ओम बोहरा, सीकर जिलाध्यक्ष शंकर लाल शर्मा, जिला महासचिव संगठन विकास काला, कोषाध्यक्ष रामचंद्र पाटोदा, वरिष्ठ उपाध्यक्ष वासुदेव शर्मा, एडवोकेट आलोक गॉड, भंवरलाल नुआ, राजेश हिरणा, बालमुकुंद दास वाहीदपुरा, पवन पुजारी, सुमित्रा सेनी, राजकुमार शर्मा, ब्रह्मकुमार शर्मा, शिव कर्ण पुजारी, रोहित पुजारी, राजकमल भीमसर, ओमप्रकाश आलरिया, मुलचंद झाझडिया, रामगोपाल शर्मा, एडवोकेट सुनील जोशी, डॉक्टर एलके शर्मा और डॉक्टर भावना शर्मा सहित कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।

स्वागत और मंच संचालन
महासंघ के संरक्षक गुलजारीलाल शर्मा और संयोजक महेश बसावतिया ने अतिथियों का स्वागत किया। मंच संचालन एडवोकेट रवि शुक्ला, राजेंद्र झेरली, पीआरओ हिमांशु सिंह और डॉक्टर भावना शर्मा ने किया।
आगे की राह
संघ ने सरकार से मांगों पर जल्द से जल्द विचार करने और उचित निर्णय लेने की अपील की। इसके साथ ही भविष्य में भी समाज के उत्थान के लिए इस तरह के आयोजनों को निरंतर करने का संकल्प लिया गया।