पिलानी: आज राजकीय सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (पहाड़ी वाले) में आयोजित मुख्यमंत्री आयुष्मान आरोग्य शिविर में बड़ी संख्या में मरीजों ने स्वास्थ्य सेवाओं का लाभ लिया। शिविर का उद्घाटन पार्वती देवी ने फीता काटकर और पूजा-अर्चना कर किया। इस दौरान डॉ. विकास बडसारा के सानिध्य में शिविर का विधिवत शुभारंभ हुआ।
विशेषज्ञ डॉक्टरों की टीम रही मौजूद
शिविर में एलोपैथी, यूनानी, होम्योपैथी और आयुर्वेद विभागों के विशेषज्ञ डॉक्टरों की टीम ने अपनी सेवाएं दीं। डॉ. राजेंद्र प्रसाद (बीसीएमओ पिलानी), डॉ. विकास बडसारा (शिशु रोग विशेषज्ञ), डॉ. रुचिका झाझरिया (कान, नाक, गला रोग विशेषज्ञ), डॉ. पी. एल. भालोठिया (मनोरोग विशेषज्ञ), डॉ. सुधीर गोठवाल (दंत रोग विशेषज्ञ), डॉ. विनय जानू (सर्जन), डॉ. कुलदीप छाबा (नेत्र रोग विशेषज्ञ), डॉ. सतीश भगासरा (स्त्री रोग विशेषज्ञ) सहित अन्य चिकित्सक शिविर में उपस्थित रहे।
यूनानी विभाग से डॉ. तनवीर अहमद और सहायक रेखा कुमारी, होम्योपैथी विभाग से डॉ. नीलम सोमरा (बीसीएमओ पिलानी) और वंदना कुमारी, आयुर्वेद विभाग से डॉ. जगदीश चौधरी और सुशीला (आयुर्वेद नर्स) ने भी शिविर में भाग लिया।
स्वास्थ्य सेवाओं का लिया व्यापक लाभ
शिविर में 750 से अधिक मरीजों का उपचार किया गया। गर्भवती महिलाओं की प्रसव पूर्व जांच, संचारी एवं गैर-संचारी रोगों की पहचान और उपचार किया गया। 30 वर्ष से अधिक उम्र के सभी लोगों की ब्लड शुगर, ब्लड प्रेशर और तीन प्रमुख कैंसर की जांच की गई।
इसके अलावा, परिवार कल्याण साधनों का वितरण, कुपोषित बच्चों की जांच, कुष्ठ रोगियों का उपचार और नियमित टीकाकरण जैसी सेवाएं भी प्रदान की गईं।
स्वास्थ्य कर्मियों की रही अहम भूमिका
शिविर में हरेंद्र कुमार शर्मा (नर्सिंग अधीक्षक), मंजू, कमलेश, पुष्पा, निर्मला, भास्कर, सरोज, सुमन (नर्सिंग अधिकारी), बलकेश (महिला स्वास्थ्य पर्यवेक्षक), संपत्ति सुमन (प्रसविका), मनोज पारीक (लेखा सहायक), नवीन सैनी, गजेश सैनी, महेंद्र सैनी, गौतम, संजय, रितिका, मीना सैनी, सरिता, चुकेश कुमारी, भानुमति, विनोद (वार्ड बॉय) सहित अन्य स्वास्थ्य कर्मियों ने अपनी सेवाएं दीं।
शिविर में नर्सिंगकर्मी, लैब टेक्नीशियन, फार्मासिस्ट, एलएचवी, एसटीएस, एसटीएलएस, एएनएम, सीएचओ, बीपीएम सहित अन्य स्वास्थ्य कार्यकर्ता भी मौजूद रहे।
डॉ. विकास बडसारा के निर्देशन में सफल आयोजन
डॉ. विकास बडसारा ने बताया कि शिविर में जिला अस्पताल स्तर की सभी आवश्यक दवाएं उपलब्ध कराई गईं। स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता और व्यापकता को देखते हुए यह शिविर पूरी तरह सफल रहा।
स्थानीय नागरिकों ने सरकार और स्वास्थ्य विभाग से अनुरोध किया कि ऐसे शिविर नियमित रूप से आयोजित किए जाएं, ताकि ग्रामीण क्षेत्रों में स्वास्थ्य सुविधाएं बेहतर हो सकें।