इस्लामाबाद, पाकिस्तान: भारत और पाकिस्तान के बीच हालात एक बार फिर तनावपूर्ण हो गए हैं। जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हाल ही में हुए आतंकी हमले के बाद भारत द्वारा चलाए गए “ऑपरेशन सिंदूर” ने पाकिस्तान के आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया था। इस सैन्य कार्रवाई के बाद पाकिस्तान ने भी आक्रामक रुख अख्तियार किया है। इसी बीच एक बड़ी राजनीतिक हलचल सामने आई है, जब पाकिस्तान के निर्वासित नेता और मुत्ताहिदा कौमी मूवमेंट (MQM) के संस्थापक अल्ताफ हुसैन ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से सार्वजनिक रूप से मदद की अपील की है।

लंदन से अल्ताफ हुसैन का आग्रह: मुहाजिरों के हक़ में उठे भारत
लंदन में एक कार्यक्रम के दौरान अल्ताफ हुसैन ने सोशल मीडिया के माध्यम से एक पोस्ट शेयर करते हुए भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अपील की कि वे 1947 के बंटवारे के बाद पाकिस्तान गए उर्दू भाषी शरणार्थियों (मुहाजिरों) के उत्पीड़न को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर उठाएं।
“मुहाजिर समुदाय को दशकों से पाकिस्तान में भेदभाव और हिंसा का सामना करना पड़ रहा है। हम भारत से आए हैं, लेकिन पाकिस्तान ने हमें कभी पूरी तरह स्वीकार नहीं किया। अब वक्त है कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय हमारी आवाज़ सुने,” — अल्ताफ हुसैन, लंदन कार्यक्रम में
میں نے اپنے لائیوخطاب میں بھارتی وزیراعظم کو مخاطب کیوں کیا؟
— Altaf Hussain (@AltafHussain_90) May 27, 2025
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27،مئی 2025ء
میں نے گزشتہ روزمورخہ26،مئی 2025ء کوبھارتی وزیراعظم نریندر مودی کوکوئی خط نہیں لکھاتھا بلکہ اپنے لائیو خطاب میں نریندر مودی صاحب کو مخاطب کیاتھاجسے نریندرمودی صاحب کےنام میراخط… pic.twitter.com/yEx6YnByMx
क्या पाकिस्तान दबा रहा है मुहाजिरों की आवाज़?
अल्ताफ हुसैन ने आरोप लगाया कि पाकिस्तान में मुहाजिरों को ना तो समान नागरिक अधिकार मिले हैं, ना ही उन्हें प्रशासनिक भागीदारी। उन्होंने दावा किया कि पिछले कुछ वर्षों में सैन्य और पुलिस कार्रवाई में करीब 25,000 मुहाजिरों की मौत हो चुकी है। MQM नेता ने यह भी कहा कि मुहाजिरों की आवाज़ को बार-बार दबाया गया है, और उन पर “देशद्रोही” होने का ठप्पा लगाया जाता रहा है।
ऑपरेशन सिंदूर और पाकिस्तान की प्रतिक्रिया
पहलागाम में हुए आतंकी हमले के जवाब में भारत ने सीमापार जाकर ऑपरेशन सिंदूर को अंजाम दिया, जिसमें कई आतंकी ठिकाने नष्ट किए गए। इस कार्रवाई के बाद पाकिस्तान ने मारे गए आतंकियों के शवों को “स्टेट ऑनर” के साथ दफनाया, जिसके वीडियो और तस्वीरें सोशल मीडिया पर व्यापक रूप से वायरल हो रही हैं।
पीएम मोदी का तीखा बयान: पाकिस्तान आतंकवाद का सम्मान करता है
हाल ही में एक जनसभा को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पाकिस्तान द्वारा आतंकियों को दी गई राजकीय श्रद्धांजलि की आलोचना करते हुए कहा:
“6 मई की रात जो आतंकवादी मारे गए, पाकिस्तान में उन्हें स्टेट ऑनर दिया गया। उनके ताबूतों पर पाकिस्तान के झंडे लगे थे, और वहां की सेना ने उन्हें सलामी दी। ये आतंक के समर्थन का जीवंत उदाहरण है।”

अंतरराष्ट्रीय स्तर पर गूंज सकती है मुहाजिरों की पीड़ा
अल्ताफ हुसैन की यह अपील भारत के लिए कूटनीतिक अवसर के रूप में देखी जा रही है, जहां वह मानवाधिकार हनन के मामलों में पाकिस्तान को वैश्विक मंच पर घेर सकता है। भारत पहले ही पाकिस्तान को आतंकी संगठनों के समर्थन के लिए संयुक्त राष्ट्र और FATF जैसे मंचों पर घेर चुका है। अब मुहाजिर मुद्दा भी अंतरराष्ट्रीय विमर्श का हिस्सा बन सकता है।