झुंझुनू, 8 अप्रैल 2025: राजस्थान की राजनीति में एक बार फिर विवाद की लहर दौड़ गई है। नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली के मंदिर जाने पर भारतीय जनता पार्टी के पूर्व विधायक ज्ञान देव आहूजा ने आपत्तिजनक टिप्पणी कर नया सियासी बवाल खड़ा कर दिया है। आहूजा ने बयान दिया कि जूली के मंदिर में प्रवेश करने से मंदिर अपवित्र हो गया और उसे गंगाजल से शुद्ध किया जाना चाहिए।

उनकी इस टिप्पणी को लेकर कई सामाजिक संगठनों और नेताओं ने विरोध दर्ज कराया है। राजस्थान मदरसा बोर्ड के चेयरमैन एम डी चोपदार ने आहूजा के बयान की कड़े शब्दों में आलोचना की है। उन्होंने कहा कि भगवान राम का मंदिर सभी के लिए खुला है, और यह कहना कि दलित समाज का व्यक्ति मंदिर में प्रवेश कर ले तो वह अपवित्र हो जाता है, एक अत्यंत संकीर्ण और जहरीली मानसिकता को दर्शाता है।
चोपदार ने कहा कि ऐसे विचार न सिर्फ संविधान की भावना के विरुद्ध हैं, बल्कि समाज में भेदभाव और नफरत को बढ़ावा देने वाले हैं। उन्होंने कहा कि यह समय समाज को जोड़ने का है, न कि विभाजित करने का। दलितों को मंदिरों में जाने से रोकने या उनके खिलाफ अपमानजनक भाषा का प्रयोग करने वालों पर कड़ी कार्यवाही होनी चाहिए।

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राजनीतिक गलियारों में इस टिप्पणी को लेकर नाराजगी साफ देखी जा रही है। कांग्रेस के कई नेताओं ने भी आहूजा के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए बयान वापस लेने और माफी मांगने की मांग की है।