सुल्तानपुर, उत्तर प्रदेश: उत्तर प्रदेश सरकार में मंत्री और निषाद पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष संजय निषाद का एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। इस वीडियो में संजय निषाद मंच से पुलिस पर कार्रवाई करने की बात कबूल करते हुए सुने जा सकते हैं। उन्होंने कहा, “मैंने 7 दारोगाओं के हाथ-पैर तुड़वाए और उन्हें गड्ढे में फिंकवाया। मैं यहां ऐसे ही नहीं पहुंचा हूं।”
क्या कहा संजय निषाद ने?
संजय निषाद ने सुल्तानपुर में आयोजित एक जनसभा में यह बयान दिया। उन्होंने पुलिस पर निशाना साधते हुए कहा कि उनके समुदाय के कई लोगों को फर्जी मामलों में फंसाया गया है। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि यदि निषाद समुदाय के लोगों के खिलाफ दर्ज फर्जी केस वापस नहीं लिए गए, तो वे मुख्यमंत्री तक शिकायत करेंगे और दोषी पुलिस अधिकारियों को निलंबित करवाएंगे।

मंत्री ने आगे कहा, “अगर जरूरत पड़ी तो दारोगा के खिलाफ और भी कड़ी कार्रवाई करेंगे। मैं यहां तक ऐसे ही नहीं पहुंचा हूं, बल्कि सात दारोगाओं का हाथ-पैर तुड़वाकर और गड्ढे में फिंकवाकर यहां तक आया हूं।”
क्या है पूरा मामला?
14 मार्च को होली के दिन सुल्तानपुर के दोस्तपुर थाना क्षेत्र के शाहपुर गांव में दलित और निषाद समुदाय के बीच विवाद हो गया था। इस विवाद में मारपीट के दौरान 65 वर्षीय दलित महिला सुनरा देवी की मौत हो गई थी। मृतक महिला के परिजनों की शिकायत पर ग्राम प्रधान कृष्णा कुमार निषाद समेत पांच लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया। पुलिस ने चार आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया।
संजय निषाद की प्रतिक्रिया
जब इस घटना की जानकारी मंत्री संजय निषाद को मिली, तो उन्होंने मंच से सार्वजनिक रूप से पुलिस अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि निषाद समुदाय के निर्दोष लोगों को फर्जी केस में फंसाया गया है। उन्होंने पुलिस को चेतावनी देते हुए कहा, “निषाद समाज के लोगों को इस केस में फंसाना बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। अगर फर्जी मुकदमे नहीं हटाए गए, तो आंदोलन होगा और संबंधित दारोगाओं को निलंबित करवाया जाएगा।”

सोशल मीडिया पर प्रतिक्रिया
संजय निषाद के इस बयान का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद राजनीतिक हलकों में भी चर्चा तेज हो गई है। विपक्ष ने मंत्री के इस बयान को कानून व्यवस्था पर सवाल उठाते हुए उनकी आलोचना की है। वहीं, निषाद समाज के कुछ लोग उनके समर्थन में भी सामने आए हैं।