आंध्र प्रदेश चुनाव 2024: आंध्र प्रदेश में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए कांग्रेस कमर कसने को तैयार है. आंध्र प्रदेश कांग्रेस कमेटी (एपीसीसी) के अध्यक्ष गिदुगु रुद्र राजू ने शुक्रवार (15 दिसंबर) को प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा, “पार्टी अगले 70 दिनों के दौरान अपनी चुनावी रणनीति को लागू करेगी. इस रणनीति को पार्टी की पॉलिटिकल अफेयर्स एंड को-ऑर्डिनेशन कमिटी ने तीन दिवसीय बैठक में तैयार किया है.”
उन्होंने बताया, “20 जनवरी से पार्टी नेता और कार्यकर्ता अपनी ‘इंटिंटा कांग्रेस’ पहल के तहत घर-घर जाकर अभियान चलाएंगे. अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी (एआईसीसी) के स्थापना दिवस (28 दिसंबर) के मौके पर 29 दिसंबर को काकीनाडा में शताब्दी समारोह आयोजित किया जाएगा.”
जगन मोहन रेड्डी को दी ये चुनौती
उन्होंने आगे बताया, “कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, नेता राहुल गांधी और प्रियंका गांधी सहित पार्टी नेतृत्व के सक्रिय समर्थन से पार्टी का माहौल उत्साहित करने वाला है. हम व्यापक प्रचार के लिए तैयार हैं.” इससे पहले गुरुवार को रुद्र राजू ने मुख्यमंत्री वाई.एस. जगन मोहन रेड्डी को चुनौती दी थी.
उन्होंने जगन मोहन रेड्डी से कहा था, “आप अपनी पार्टी के नाम से दो शब्द ‘वाईएसआर’ और ‘कांग्रेस’ हटाओ और फिर आगामी चुनावों में लोगों से जनादेश मांगकर देखो. ये दोनों नाम कांग्रेस पार्टी के हैं. उन्होंने कहा कि “जगन इन दो शब्दों का उपयोग करके सत्ता पर काबिज हुए हैं जिनकी राज्य में लोगों के बीच व्यापक स्वीकार्यता थी. मैं उन्हें चुनौती देता हूं कि वह ये शब्द छोड़ दें और फिर लोगों के पास वोट मांगने जाएं.”
‘लोगों के सामने आ रही हकीकत’
रुद्र राजू ने कहा कि, “राज्य के लोगों के सामने वास्तविकता आ रही है और उन्हें यह एहसास होने लगा है कि जगन मोहन रेड्डी दिवंगत वाई.एस. के सच्चे राजनीतिक उत्तराधिकारी नहीं हैं. राजशेखर रेड्डी सच्चे और उत्कृष्ट कांग्रेस नेता थे.”
टीडीपी और वाईएसआर कांग्रेस पर किया हमला
उन्होंने टीडीपी और वाईएसआर कांग्रेस पर हमला करते हुए कहा, “लोगों ने टीडीपी और वाईएसआरसीपी दोनों का असली रंग देखा है. टीडीपी ने राज्य में पांच साल तक शासन किया, लेकिन उन लोगों की परेशानियों को कम करने के लिए कुछ भी ठोस नहीं किया, जो केंद्र में भाजपा सरकार की घोर उदासीनता का शिकार थे.