झुंझुनूं: जिले के खिरोड़ निवासी और देशभर में सुनील रेसर के नाम से पहचान बना चुके सुनील कुमार ने एक बार फिर इतिहास रचने की दिशा में कदम बढ़ाया है। कश्मीर से कन्याकुमारी और फिर सांगलिया धुनी तक लगभग 7000 किलोमीटर की लंबी दौड़ पूरी कर गिनिज वर्ल्ड रिकॉर्ड और वर्ल्ड रिकॉर्ड में नाम दर्ज कराने के उद्देश्य से सुनील रेसर 21 दिसंबर से अपनी ऐतिहासिक रनिंग यात्रा की शुरुआत करेंगे। इस अवसर पर झुंझुनूं के अंबेडकर पार्क में आवाम ग्रुप के सदस्यों ने माल्यार्पण कर उनका उत्साहवर्धन किया।
अंबेडकर पार्क से कश्मीर के लिए रवाना होने पर दी भावनात्मक विदाई
आवाम ग्रुप झुंझुनूं के सदस्यों ने अंबेडकर पार्क में आयोजित कार्यक्रम के दौरान सुनील रेसर का माल्यार्पण कर उन्हें कश्मीर के लिए रवाना किया। कार्यक्रम के दौरान सुनील ने बाबा साहब डॉक्टर भीमराव अंबेडकर की प्रतिमा पर पुष्पांजलि अर्पित की और शहीद स्मारक पहुंचकर देश के वीर शहीदों को नमन किया। यह यात्रा केवल एक खेल उपलब्धि नहीं, बल्कि सामाजिक और राष्ट्रीय संदेश का प्रतीक भी मानी जा रही है।
सांगलिया धूनी से मिला आध्यात्मिक संबल
इससे पूर्व सुनील रेसर सांगलिया धूनी पहुंचे, जहां उन्होंने महंत ओमदास महाराज से आशीर्वाद प्राप्त किया। सांगलिया धुनी से आशीर्वाद लेकर जब सुनील झुंझुनूं के अंबेडकर पार्क पहुंचे, तब टीम आवाम के सदस्यों ने उनका स्वागत करते हुए इस ऐतिहासिक मिशन के लिए शुभकामनाएं दीं।
नशा मुक्ति, संविधान और शहीदों के सम्मान का संदेश
सुनील रेसर ने बताया कि यह दौड़ केवल रिकॉर्ड बनाने तक सीमित नहीं है। वह इस लगभग चार महीने लंबी दौड़ के माध्यम से नशा मुक्ति अभियान, भारतीय संविधान के प्रति जागरूकता और देश के वीर शहीदों के सम्मान का संदेश देशभर में फैलाएंगे। सुनील का कहना है कि युवाओं को सकारात्मक दिशा देने के लिए खेल और अनुशासन सबसे मजबूत माध्यम हैं।
21 दिसंबर से कश्मीर में दौड़ का शुभारंभ
सुनील रेसर 21 दिसंबर को कश्मीर से अपनी दौड़ का औपचारिक शुभारंभ करेंगे। कश्मीर से कन्याकुमारी और फिर सांगलिया धुनी तक की यह दौड़ लगभग 7000 किलोमीटर लंबी होगी, जिसे सुनील निरंतर दौड़ते हुए पूरा करेंगे। इससे पहले भी सुनील रेसर कई राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर के कीर्तिमान स्थापित कर चुके हैं।
कार्यक्रम में ये लोग रहे मौजूद
कार्यक्रम के दौरान आवाम ग्रुप की ओर से गौरव सेनानी ओमप्रकाश भूरिया, डॉक्टर कमल मीणा, राजेश हरिपुरा, अनिल बेसरवाल, सीताराम बास बुडाना, प्रेमचन्द बिशनपुरा, अजय वर्मा, संदीप टंडन, जितेंद्र गर्वा और अरविंद नरवारा खेतड़ी मौजूद रहे। सभी ने सुनील रेसर की इस ऐतिहासिक दौड़ को देश के लिए गौरवपूर्ण बताया।
सुनील रेसर: झुंझुनूं से विश्व पटल तक
खिरोड़ निवासी सुनील कुमार, जिन्हें देशभर में सुनील रेसर के नाम से जाना जाता है, ने अब तक दौड़ के क्षेत्र में कई उल्लेखनीय उपलब्धियां हासिल की हैं। उनकी यह यात्रा झुंझुनूं ही नहीं, बल्कि पूरे राजस्थान और देश के लिए प्रेरणा का स्रोत बन रही है।





