महाराष्ट्र: लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने शनिवार को एक बड़ा राजनीतिक आरोप लगाते हुए महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव 2024 को “मैच फिक्सिंग” करार दिया और इसे भारतीय लोकतंत्र के लिए “सुनियोजित नुकसान पहुंचाने की साजिश” बताया। राहुल गांधी ने एक विस्तृत लेख साझा करते हुए पांच चरणों में समझाया कि कैसे, उनके अनुसार, चुनाव प्रक्रिया में गड़बड़ी की गई और इसका सीधा लाभ भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) को मिला।

राहुल गांधी के आरोप: “चुनाव कैसे चुराया जाता है?”
राहुल गांधी ने अंग्रेज़ी अखबार में छपे एक लेख “Match Fixing Maharashtra” को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X (पूर्व ट्विटर) पर साझा किया और एक-एक कदम गिनाते हुए दावा किया कि महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में लोकतंत्र की हत्या की गई। उन्होंने इस पोस्ट को कैप्शन दिया:
“चुनाव कैसे चुराया जाता है? 2024 के महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव लोकतंत्र को नुकसान पहुंचाने की एक सुनियोजित योजना थी।“
राहुल के आरोपों की प्रमुख बातें:
पांच चरणों की चुनावी धांधली की रणनीति (Step-by-step analysis):
- चुनाव आयोग की नियुक्ति में हेराफेरी
- चुनाव आयुक्तों की नियुक्ति के लिए बनी समिति से मुख्य न्यायाधीश को हटाकर कैबिनेट मंत्री को शामिल किया गया।
- मतदाता सूची में फर्जी नाम जोड़ना
- जिन क्षेत्रों में बीजेपी कमजोर थी, वहां फर्जी मतदाता जोड़े गए।
- मतदान प्रतिशत बढ़ा-चढ़ाकर दिखाना
- असली आंकड़ों में बदलाव कर बीजेपी को बढ़त दिलाने की कोशिश की गई।
- निर्दिष्ट सीटों पर फर्जी मतदान कराना
- टार्गेटेड काउंटिंग और बूथ मैनेजमेंट के जरिए नतीजों को प्रभावित किया गया।
- सबूतों को दबाना और जनता से सच्चाई छिपाना
- EVM, CCTV फुटेज और बूथ रिकॉर्ड्स से जुड़े कई डाटा छिपाए गए।
राहुल गांधी ने यह भी आरोप लगाया कि इसी तर्ज पर बिहार विधानसभा चुनाव को भी प्रभावित करने की तैयारी चल रही है।
राहुल गांधी का सवाल: क्यों हटाया गया CJI?
राहुल गांधी ने चुनाव आयोग की नियुक्ति प्रक्रिया में बदलाव को “अंपायर सेट करना” बताया और पूछा:
“कोई क्यों एक निष्पक्ष संस्था से एक तटस्थ जज को हटाकर अपने आदमी को नियुक्त करेगा? क्या यह लोकतंत्र की भावना के विपरीत नहीं है?”
बीजेपी का तीखा पलटवार: “राहुल गांधी फैला रहे हैं भ्रम और अराजकता”
राहुल गांधी के इस आरोप पर बीजेपी नेता अमित मालवीय ने X पर पलटवार करते हुए कहा:
“राहुल गांधी को पता है कि चुनावी प्रक्रिया कैसे काम करती है, लेकिन वे जानबूझकर जनता के मन में संस्थाओं के प्रति संदेह पैदा कर रहे हैं।”
मालवीय ने आरोपों को “जॉर्ज सोरोस की रणनीति” से जोड़ते हुए कहा:
“यह सब उस एजेंडे का हिस्सा है, जिसमें लोगों का अपनी ही संस्थाओं से भरोसा systematically खत्म किया जाए। लेकिन भारत का लोकतंत्र मज़बूत है, संस्थाएं सक्षम हैं और मतदाता समझदार।”

राजनीतिक पृष्ठभूमि: महाराष्ट्र में विपक्ष की हार और संदेह
गौरतलब है कि जहां लोकसभा चुनाव 2024 में विपक्षी गठबंधन INDIA ने महाराष्ट्र में शानदार प्रदर्शन किया था, वहीं कुछ महीनों बाद हुए विधानसभा चुनावों में बीजेपी और उसकी सहयोगी पार्टियों ने अप्रत्याशित जीत दर्ज की। इन नतीजों ने न सिर्फ कांग्रेस, उद्धव ठाकरे की शिवसेना और पवार गुट को चौंकाया, बल्कि राजनीतिक विश्लेषकों को भी असमंजस में डाल दिया।