Friday, June 20, 2025
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चिड़ावा में वीर सावरकर शिक्षण संस्थान ने निकाला मेधावी छात्रों के सम्मान में रंगारंग विजय जुलूस, विज्ञान वर्ग में भावना नायक ने 98% अंक हासिल कर चिड़ावा में मारी बाज़ी, दिव्या सोनी बनीं कला वर्ग की टॉपर

चिड़ावा, 25 मई 2025: वीर सावरकर शिक्षण संस्थान में कक्षा 12वीं के टॉपर्स विद्यार्थियों के सम्मान में शनिवार को शानदार विजय जुलूस का आयोजन किया गया। पूरा चिड़ावा शहर आज गुलाल और पुष्पवर्षा से सजा नजर आया जब विज्ञान और कला वर्ग के होनहार छात्रों को शहरवासियों ने जमकर सराहा।

कार्यक्रम की शुरुआत संस्थान परिसर में मां सरस्वती की पूजा-अर्चना से हुई, जिसके बाद निदेशक रणवीर सिंह थालौर, प्राचार्य महिपाल दरिया, घासी राम सिहाग, रेखा शर्मा, नाहर सिंह थालौर और निशा शर्मा ने विज्ञान वर्ग की भावना नायक (98%) — जो चिड़ावा टॉपर बनीं — के साथ गौतम पंवार (91%), धवल सिहाग (90.80%), मीन केतन शर्मा (88%), मयंक सोनी (87.60%), खुशी वर्मा (87.40%), चंचल (86.60%) और कला वर्ग की दिव्या सोनी (91%), रितु योगी (89.40%) व सोनू (88%) का पारंपरिक तिलक, साफा और माल्यार्पण कर अभिनंदन किया।

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कार्यक्रम में उपस्थित अभिभावकों व नागरिकों का स्वागत विनय कुमार सांगवान, मनीष थालौर, सुधा गौड़, मयंक थालौर, संजय चाहर, शशिकांत, दिव्या भरिया और सुनील कुमार ने किया।

विजय जुलूस की शुरुआत संस्थान के संरक्षक प्रोफेसर भगवाना राम सैनी ने हरी झंडी दिखाकर की। यह उत्सवी रैली संस्थान परिसर से निकलकर चिड़ावा के मुख्य मार्गों से होती हुई शिव नगरी स्थित अधिष्ठाता बावलिया बाबा परमहंस पंडित गणेश नारायण के दरबार पहुंची। बाबा के दर्शन के बाद रैली विभिन्न गांवों से गुजरती हुई सुलताना पहुंची, जहां गांववासियों ने छात्र-छात्राओं का जमकर स्वागत किया।

इस उत्सव में उत्साह की कोई कमी नहीं रही। जुलूस के दौरान जगह-जगह गुलाल उड़ता रहा, ढोल-नगाड़ों की थाप पर छात्र झूमते रहे और नागरिकों ने फूलों की वर्षा से जुलूस का भव्य स्वागत किया। चिड़ावा का बाजार आज शिक्षा और प्रतिभा के इस उत्सव में पूरी तरह रंगा हुआ नजर आया।

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कार्यक्रम का समापन संस्थान परिसर में हुआ, जहां प्रधानाचार्य गणेश सिंह राठौड़ ने आयोजन की सफलता के लिए सभी का धन्यवाद ज्ञापित किया। उन्होंने विद्यार्थियों की इस सफलता को संस्थान की शिक्षा पद्धति, अनुशासन और लगातार मेहनत का परिणाम बताया।

इस आयोजन ने यह जता दिया कि वीर सावरकर शिक्षण संस्थान न केवल शिक्षा देता है, बल्कि प्रतिभाओं को पहचान कर उन्हें पूरे समाज के सामने गर्व से प्रस्तुत करता है।

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